स्कूल नहीं यह माल कमाने का गोदाम है… चैतन्य टेक्नो स्कूल पर प्रशासन का छापा..
स्कूल को बना रखा गोदाम... स्कूल से ही मनमर्जी दामों पर विक्रय हो रही कॉपी किताबें एवं यूनिफॉर्म...

(www.csnn24.com) रतलाम मुख्यमंत्री मोहन यादव के आदेश के पश्चात पूरे मध्य प्रदेश में ऐसे स्कूलों के विरुद्ध कार्रवाई की जा रही है जो मनमर्जी का खेल खेल रहे हैं। ऐसे स्कूल जो अभिभावकों पर बच्चों की यूनिफॉर्म किताब विशेष दुकान अथवा अपने संस्थान से खरीदने का दबाव बना रहे हैं एवं मनमर्जी की फीस वसूल रहे हैं उन पर लगाम लगाने का प्रयास किया जा रहा है। परंतु स्कूलों पर इन कार्रवाई का भी कोई असर नजर नहीं आ रहा है। इसका सबसे बड़ा कारण यह है कि जो जिम्मेदार स्कूलों पर लगाम लगाने का माद्दा रखते हैं वह कहीं ना कहीं चुपचाप आंख मूंदकर या खेल होने देते हैं। और यदि सूत्रों की माने तो स्कूल के बारे में बारीकी से जांच की जाए तो और भी अनियमिताएं सामने आ सकती है।
आज रतलाम कलेक्टर राजेश बाथम के निर्देश के पश्चात जिला प्रशासन एवं शिक्षा विभाग के आल्हा अधिकारी जागे। तहसीलदार ऋषभ ठाकुर एवं जिला शिक्षा अधिकारी के.सी शर्मा शाहिद राजस्व विभाग के अन्य अधिकारी रतलाम के डेलनपुर क्षेत्र में स्थित चैतन्य टेक्नो स्कूल पहुंचे तथा वहां पहुंचकर कार्रवाई करी। कलेक्टर को सूचना प्राप्त हुई थी कि स्कूल के द्वारा स्कूल से ही पाठ्य पुस्तक अन्य सामग्री तथा स्कूल यूनिफॉर्म अभिभावकों को खरीदने पर मजबूर किया जा रहा है तथा मनमर्जी के दाम वसूले जा रहे हैं।
जब यहां के एक कमरे का ताला तोड़कर अंदर का नजारा देखा तो ऐसा लगा मानो यह किसी कॉपी किताब अथवा यूनिफॉर्म का गोदाम हो। इसके पश्चात प्रशासन के द्वारा यहां से भारी मात्रा में यूनिफार्म पाठ्य सामग्री जो अभिभावकों को मनमर्जी से दबाव बनाकर बेची जा रही थी जप्त कर कर एक अन्य कमरे लाइब्रेरी में रख कर उसे सील किया गया तथा पंचनामा बनाया गया। रविवार होने के कारण यहां पर स्कूल का कोई भी बड़ा जिम्मेदार अधिकारी जवाब देही के लिए उपलब्ध नहीं था तथा जिला शिक्षा अधिकारी का कहना था कि वह प्रतिवेदन बनाकर जिलाधीश महोदय को भेजेंगे उसके पश्चात स्कूल पर कार्रवाई की जाएगी एवं नोटिस भी जारी किया जाएगा।
प्रश्न यह उठता है कि भारी मात्रा में यूनिफार्म पाठ्य सामग्री बरामद होने के पश्चात क्या उसे जप्त किया जाएगा अथवा स्कूल को जुर्माना देखकर पुनः अभय दान दे दिया जाएगा। हालांकि जिलाधीश राजेश बाथम का कहना है की कार्रवाई सतत जारी रहेगी तथा अन्य जगहों पर भी इसी प्रकार कार्रवाई की जाएगी चाहे वह स्कूल हो अथवा दुकान। सूत्रों की माने तो यह कार्रवाई भी अभिभावकों की शिकायत के आधार पर की गई है। सूत्रों से यह भी जानकारी प्राप्त हुई है कि यदि स्कूल की बारीकी से जांच की जाए तो बहुत सारी हानियां मिलता है इसके संदर्भ में बाहर आ सकती है। आप देखना यह है कि स्कूल पर कोई बड़ी कार्रवाई होती है अथवा जुर्माना लगाकर इसे अभयदान दे दिया जाता है।